डिजिटल टीम
विशेष रिपोर्ट,उर्जांचल टाइगर
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सरकारी पेट्रोलियम कंपनियों ने देश भर में 25,000 नए पेट्रोल पंप खोलने की योजना बनाई है। पेट्रोयिम मंत्रालय ने पेट्रोल पंप डीलरों की नियुक्ति पर सरकारी पॉलिसी को भी रद्द कर दिया है। इकोनॉमिक्स टाइम्स की रिर्पोट के अनुसार इससे सरकारी पेट्रोलियम कंपनियों इंडियन ऑयल, हिंदुस्तान पेट्रोलियम और भारत पेट्रोलियम को पेट्रोल पंप खोलने के लिए अपने नियम बनाने की छूट मिलेगी।
नई गाइडलाइन अनुसार नए डीलर नियुक्त किए जाएंगे।
इकोनॉमिक्स टाइम्स ने अपने रिर्पोट में आगे बताया है कि मंत्रालय ने नए पेट्रोल पंप डीलरों की नियुक्ति के लिए पिछले महीने कंपनियों को अपनी गाइडलाइंस तैयार करने की अनुमति दी थी। इन कंपनियों ने सरकार से कहा था कि पेट्रोल और डीजल के रिटेल प्राइस पर सरकारी नियंत्रण हटने के बाद डीलरों की नियुक्ति के लिए सरकार की गाइडलाइन की जरुरत नहीं रह गई। इन कंपनियों ने अपनी गाइडलाइंस तैयार कर ली हैं और इन्हीं के अनुसार नए डीलर नियुक्त किए जाएंगे।
एक महीने के अंदर आ जाएंगे आवेदन फॉर्म
आपको बता दें कि ये तीनों कंपनियां या सभी कंपनियां एक महीने में विज्ञापन देकर 25,000 स्थानों पर पेट्रोल पंप खोलने के लिए आवेदन मंगाएंगी। इनमें से अधिकांश पेट्रोल पंप ग्रामीण इलाकों में होंगे। सरकारी पेट्रोलियम कंपनियां अभी लगभग 57,000 और प्राइवेट कंपनियां और लगभग 6,000 पेट्रोल पंप चलाती है।
अभी सब कुछ साफ़ नहीं
हालांकि, अभी यह तय नहीं हुआ है कि विज्ञापन में दिए गए सभी स्थानों के लिए आवेदन मिलेंगे या वहीं पेट्रोल पंप खुलेगा, लेकिन इसमें सफलता की दर 50 प्रतिशत रहने पर ईंधन की रिटेलिंग बिजनेस में हजारों करोड़ रुपए का निवेश होगा। साथ ही इससे लोगों को रोजगार मिलेगा और ईंधन रिटेलिंग कंपनियों का दबदबा बढ़ेगा।
पिछड़े वर्ग को मौका मिलेगा
बता दें कि सरकारी पेट्रोलियम कंपनियां लगभग चार साल बाद नए डीलरों की नियुक्ति कर रही हैं। नई गाइडलाइंस में समाज के पिछड़े वर्गों के लिए आरक्षण के नियमों का पालन किया जाएगा और पेट्रोलियम कंपनियों को डीलरों की नियुक्ति में छूट मिलेगी।
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